स्थापित हुआ विश्व कीर्तिमान : शेर्पा कामी रीता, 48 की उम्र में 22 बार 8848 मी. चढ़े

बुधवार 16 मई 2018, सुबह के सही 08:30 बजे, अनुभवी गाइड शेर्पा कामी रीता ने दुनिया की सबसे ऊँची चोटी पर कदम रखते ही विश्व कीर्तिमान स्थापित कर दिया । 21 बार एवरेस्ट फतेह करने का विश्व कीर्तिमान इससे पहले आप्पा शेर्पा और फुर्वा तासी शेर्पा के नाम था । वह दुनिया जहाँ लोग माँ की कोख से कम-से-कम 4-4 जोड़ी फेफड़े लेकर पैदा होते हैं ।

Kami Rita Sherpa scales Mt Everest for record 22 times
Photo Courtney : कामी रीता फेसबुक प्रोफाइल 

कामी शेर्पा बुधवार की सुबह 9 चाइनीज क्लाईम्बरों और अपनी महिला साथी लख्पा शेर्पा के साथ सुरक्षित बेस कैंप तक पहुंचे । कामी शेर्पा 48 साल के हैं जिन्होंने दुनिया की सबसे ऊँची चोटी पर सबसे ज्यादा बार चढ़ने का वर्ल्ड रिकॉर्ड बना लिया है । कामी से पहले यह विश्व कीर्तिमान दूसरे 2 अन्य नेपाली गाइड के नाम था, जिनका नाम आप्पा शेर्पा और फुर्वा तासी शेर्पा है, दोनों ही अब पर्वतारोहण से सन्यास ले चुके हैं । एवरेस्ट के अन्य रिकॉर्ड की जानकारी के लिए यहाँ नजर डालें ।

इस महा अभियान पर निकलने से पहले शेर्पा कामी ने स्थानीय मीडिया के सामने अपने दिल की बात कही थी, “मैं इस पर्वत को कम-से-कम 25 बार चढ़ना चाहता हूँ” । पर्वतारोहण शेर्पा कामी का पारिवारिक व्यवसाय रहा है जिसमें उनका परिवार 1950 से शामिल है । जब नेपाल ने अपने दरवाजे विदेशी पर्वतारोहियों के लिए खोले तब शुरुआत के पेशेवर माउंटेन गाइड में इनके पिताजी भी शामिल थे । इनके बड़े भाई लाख्पा रीता शेर्पा खुद 17 बार माउंट एवरेस्ट चढ़ चुके हैं, जोकि अब यू.एस. के सीएटल शहर में रहते हैं । अगर देखा जाए तो इनके परिवार के सभी पुरुष सदस्यों ने कम-से-कम एक बार तो एवरेस्ट को फतेह किया ही है ।

कामी और लाख्पा का पालन-पोषण अन्य 6 बहनों के साथ थामे गाँव में हुआ । यह घाटी तेनजिंग नोर्वे जैसे दिग्गजों को जन्म दे चुकी है जिसने 1953 में माउंट एवरेस्ट को सबसे पहली बार फतेह किया था । अगर इनकी प्राथमिक शिक्षा की बात की जाए तो आप हैरान हुए बिना न रह पाओगे । कामी अपने घर से 4 घंटे का रास्ता तय करके स्कूल पहुंचते थे और उनता ही समय उन्हें वापस आने में लगता था । स्कूल में मन नही लगने के कारण उन्होंने भिक्षु बनना तय किया जिसके अंतर्गत उन्होंने 4 साल बुद्ध धर्म की शिक्षा ग्रहण करी लेकिन कामी की मंजिल बहुत ऊँची थी जिसने उन्हें भिक्षु नही बल्कि पेशेवर पर्वतारोही बनने के लिए आगे बढाया ।

1992 में पहली बार कामी ने अपने बड़े भाई लाख्पा के साथ बतौर रसोइया काम किया, जिसके तहत उन्होंने बहुत बार बेस कैंप की यात्रा सकुशल पूरी करी । साल 1993 से लेकर 2000 तक कामी ने शेर्पा के तौर पर काम किया जिसके बाद उन्होंने 2001 से अब तक (2018) बतौर माउंटेन गाइड एवेरेस्ट रीजन में अपना लोहा मनवाया है ।

कामी रीता ने सबसे पहले एवरेस्ट की चढ़ाई 24 साल की उम्र में पूरी करी थी और तब से आज तक लगभग हर साल जनाब दुनिया की सबसे ऊँची चोटी पर झंडे गाड़ते आ रहे हैं । कामी रीता 8000 मी. या इससे ज्यादा ऊँचे पर्वतों को अबतक कुल मिलाकर 33 बार चढ़ चुके हैं, जिसमें मुख्य हैं, के-2 (K-2, 8611 मी.), छो-ओयु (Cho-oyu, 8201 मी.), मनास्लू (8156 मी.) और लोह्त्से (8516 मी.) । साल 2009, 2010 और 2013 में कामी को एवरेस्ट को एक ही साल में दो-दो बार फतेह करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ । कामी के सभी एवरेस्ट समिट साउथ कोल रूट से संपन्न हुए हैं सिर्फ साल 2016 में उन्होंने नार्थ साइड (तिब्बत) से एवरेस्ट को चढ़ा ।

Kami Rita Sherpa scales Mt Everest for record 22 times
अभी तक के सारे समिट साल के हिसाब से

58 साल के आप्पा शेर्पा ने 21 बार एवरेस्ट को चढ़कर 2011 में सन्यास लिया । आप्पा आजकल उथाह, यू.एस. में रहते हैं । फुर्बा तासी शेर्पा ने 47 की उम्र में 2013 में इस पेशे से सन्यास लिया । फुर्बा एवरेस्ट बसे कैंप के अभियान आयोजित कराने में आज भी कार्यरत हैं ।

अन्य महिला साथी लख्पा शेर्पा (44 साल) ने बुधवार को चीन साइड से एवरेस्ट चढ़कर अपना पिछला रिकॉर्ड तोड़कर नया स्थापित किया जोकि अब 9 हो गया है । लख्पा शेर्पा ने अपना ज्यादातर समय यू.एस. में रहकर बिताया है अपने एक लड़के और 2 लड़कियों के साथ ।

बुधवार 16 मई को मौसम साफ होने की वजह से 94 पर्वतारोहियों ने एवरेस्ट की चोटी को फतेह किया । अकेले मई महीने में 340 से ज्यादा विदेशी पर्वतारोही स्थानीय गाइड और पोर्टरों के साथ एवरेस्ट समिट करने का प्रयास करेंगे ।

आजकल कामी रीता नेपाल की राजधानी काठमांडू में अपनी पत्नी और 2 बच्चों के साथ रहते हैं । क्लाइम्बिंग सीजन खत्म होते-होते कामी लगभग $10,000 कमा लेते हैं जोकि भारतीय रुपयों के हिसाब से लगभग 70,000 बनते हैं । देखा जाए तो हमारी राजधानी दिल्ली में ही बहुत से लोग सालाना 10 लाख से ज्यादा कमाते हैं वो भी बिना किसी जान के खतरे के ।

स्वस्थ शरीर और भविष्य में की जाने वाली समस्त यात्राओं के लिए शेर्पा कामी रीता को ढेर सारी शुभकामनाएं और एक बार फिर से विश्व कीर्तिमान स्थापित करने के लिए लाखों बधाइयाँ ।
“होश सागरमाथा का, जोश कामी रीता का”

Comments

  1. बढ़िया जानकारी

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  2. Bahut hi badhiya jaankari Rohit ji par 10000*70=700000 bante h shayad AK baar dekh Lena

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    1. शुक्रिया सुरेश जी, गणित तेज है आपका ।

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  3. बहुत़ ही सुंदर प्रस्तुति ।जय़ हो कामी रीता

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